संकट की घड़ी में पूरी निष्ठा से अपना कर्तव्य निभा रही तहसीलदार अर्चना शर्मा।
लॉकडाऊन के एक दिन पूर्व ही अवकाश से लौटकर ड्यूटी जॉइन की।
हरदा। कोरोना वायरस संक्रमण महामारी के कारण उपजी संकट की इस घड़ी में स्वास्थ्य, पुलिस, राजस्व आदि विभागों के कोरोना योद्धा पूरी निष्ठा से अपना कर्तव्य निभा रहे हैं। ऐसी ही एक कोरोना वॉरियर हैं हंडिया तहसीलदार श्रीमती अर्चना शर्मा। श्रीमती शर्मा निरंतर अपने क्षेत्र में भ्रमण कर लॉकडाऊन का पालन करवा रहीं हैं।
लोगों को कोरोना संक्रमण के संबंध में जागरूक भी कर रही हैं। इसके अलावा वे भ्रमण के दौरान गांवों में जरूरतमंदों की जानकारी प्राप्त कर उन्हें शासकीय सहायता अथवा जनसहयोग से राशन भी उपलब्ध करवा रहीं हैं। इंदौर की ओर से आने वाले लोगों के लिए हंडिया ही जिले का प्रवेशद्वार है। श्रीमती अर्चना शर्मा के नेतृत्व में हंडिया टीम द्वारा पूरी मुस्तैदी से चेकपोस्ट पर निगरानी की जा रही है।
जब कुछ लोगों द्वारा नाव के माध्यम से नर्मदा पार कर जिले में प्रवेश करने की जानकारी मिली तो उनके द्वारा नर्मदा किनारे के गांवों का भ्रमण कर नाविकों को ऐसा न करने की हिदायत दी गई और बाहर से आने वाले लोगों की जानकारी देने की भी समझाईश दी गई। इसके लिए नेमावर प्रशासन से भी समन्वय स्थापित किया गया।
लॉकडाऊन से पूर्व श्रीमती अर्चना शर्मा अवकाश पर थीं। पारिवारिक कार्य के कारण अवकाश को बढाने की इच्छुक थी, परंतु कोरोना संक्रमण के संकट को देखते हुए उन्होंने 23 मार्च को अवकाश से लौटकर जॉइन कर लिया। उनके पति भोपाल में हैं तथा दोनों बच्चे उनके साथ हंडिया में हैं। उनकी माताजी का स्वास्थ्य ठीक नहीं है परंतु लॉकडाऊन के चलते वे उनसे मिलने भोपाल नहीं जा सकतीं। श्रीमती अर्चना शर्मा का कहना है कि एक लोकसेवक के रूप में यही वास्तविक कर्तव्य निभाने का समय है। इस समय निरंतर अपने क्षेत्र का भ्रमण करने से वे क्षेत्र की कमियों को भी समझ पा रही हैं। दिन-रात व्यस्तता के बावजूद कुछ समय बच्चों के लिए निकाल रही हैं। अपने समस्त दायित्वों का निर्वहन कर तहसीलदार श्रीमती अर्चना शर्मा निश्चित रूप से एक अनुकरणीय एवं प्रेरणादायक उदाहरण प्रस्तुत कर रही हैं।