जिला पंचायत CEO श्री आकाश छिकारा ने किया स्तनपान कक्ष का शुभारंभ।

जिला पंचायत CEO श्री आकाश छिकारा ने किया स्तनपान कक्ष का शुभारंभ।

सूरजपुर से पप्पू जायसवाल की रिपोर्ट।

मां का दूध केवल पोषण ही नहीं, जीवन की धारा है-श्री छिकारा।

सूरजपुर। जिला पंचायत मुख्य कार्यपालन अधिकारी श्री आकाश छिकारा ने आज विश्व स्तनपान सप्ताह के तारतम्य में जिला पंचायत कार्यालय में स्थापित स्तनपान कक्ष का शुभारंभ किया। स्तनपान सप्ताह के शुभारंभ के दौरान श्री छिकारा ने कहा कि स्तनपान के महत्व को ध्यान में रखते हुए जिला प्रशासन सूरजपुर द्वारा स्तनपान को बढ़ावा देने एवं महिलाओं को एक सुरक्षित माहौल उपलब्ध कराने के उद्देश्य से स्तनपान कक्ष का शुभारंभ किया गया है।

Mother ‘s milk is not only nourishment but it is vital for life.

जिससे स्तनपान कराने वाली महिलाओं को किसी भी प्रकार की असुविधा ना हो। उन्होंने कहा कि इसका उद्देश्य महिलाओं को स्तनपान एवं कार्य को दृढ़तापूर्वक करने में मदद करता है, और इससे कामकाजी महिलाओं को उनके स्तनपान अधिकार के प्रति भी जागरूक करता है। साथ ही मां का दूध केवल पोषण ही नहीं, जीवन की धारा है। इससे मां और बच्चे के स्वास्थ्य पर सकारात्मक प्रभाव पड़ता है। स्तनपान शिशु के लिए संरक्षण और संवर्धन का काम करता है मां का दूध।

Mother ‘s milk is not only nourishment but it is vital for life.

उल्लेखनीय है कि जिले में 01 अगस्त से 07 अगस्त तक विश्व स्तनपान सप्ताह मनाया जायेगा। जिसमें विभाग के द्वारा कोविड-19 महामारी के मद्देनजर स्तनपान सप्ताह मनाने के लिए विभिन्न स्तर पर तैयारी की गई है, जिसमें नवजात शिशु के लिए अमृत स्तनपान की जानकारी प्रत्येक विकासखंड में फिजीकल डिस्टेंस को ध्यान में रखकर दिया जायेगा।

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इसके साथ ही संयुक्त जिला कार्यालय, जिला पंचायत सूरजपुर, जिला चिकित्सालय सहित अन्य स्थानों में स्तनपान कक्ष स्थापित किये गये हैं, जिससे महिलाओं को किसी प्रकार की असुविधा न हो, और सामाजिक व शारीरिक दूरी का पालन करते हुए शिशुओं को स्तनपान करा सकें।

विश्व स्तनपान सप्ताह, प्रत्येक वर्ष अगस्त माह के पहले सप्ताह 1 अगस्त से 7 अगस्त तक मनाया जाता है। विश्व स्वास्थ्य संगठन की सिफारिश के अनुसार नवजात शिशु के लिए पीला गाढ़ा चिपचिपा युक्त मां के स्तन का दूध कोलेस्ट्रम संपूर्ण आहार होता है जिसे बच्चे के जन्म के तुरंत बाद 1 घंटे के भीतर ही शुरू कर देना चाहिए।

सामान्यता बच्चे को 6 महीने की अवस्था तक स्तनपान कराने की अनुशंसा की जाती है शिशु को 6 महीने की अवस्था और 2 वर्ष अथवा उससे अधिक समय तक स्तनपान कराने के साथ-साथ पौष्टिक पूरक आहार भी देना चाहिए स्तनदूध आपके शिशु के लिए सर्वोत्तम है, और स्तनपान से न केवल शिशु को पोषण मिलता है, बल्कि यह और कई तरीकों से शिशु के लिए फायदेमंद है। स्तनदूध आपके शिशु को वह सब प्रदान करता है, जिसकी जरुरत उसे बढ़ने के लिए होती है। साथ ही, आपके लिए भी इसके बहुत से फायदे हैं।

इस दौरान महिला एवं बाल विकास कार्यक्रम अधिकारी श्री मुक्तानंद खुंटे, जिला स्वास्थ भारत प्रेरक पोषण अभियान सुश्री दीपशिखा, पर्यवेक्षक आंगबाड़ी कार्यकर्ता, महिलाएं एवं अन्य अधिकारी कर्मचारी उपस्थित थे।

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