इंटरनेट विहीन इलाकों में सिनेमा वाले बाबू टीचर बाईक से दे रहे शिक्षा ज्ञान।
सिनेमा वाले बाबू टीचर, बाईक से शिक्षा की अलख जगाने सिनेमा वाले बाबू
कोरिया से अतुल शुक्ला की रिपोर्ट।
कोरिया। छत्तीसगढ़ मुखिया भूपेश दाऊ के द्वारा छत्तीसगढ़ में राज्य सरकार राज्य में कोरोना संक्रमण के दौरान प्रत्येक बच्चे तक शिक्षा पहुंचाने के लिए ‘पढ़ई तुंहर पारा’ पढ़ाई आपके मोहल्ले तक योजना शुरू किया गया था,। इस योजना को सफल एवं पूर्ण बनाने के लिए छत्तीसगढ़ के कोरिया जिले से शिक्षक अपनी मोटर साइकिल पर बैटरी, स्पीकर एवं टीवी बांध करके स्कूली बच्चों को जाकर के शिक्षित करने का प्रयास कर रहे हैं।
उनके इस प्रयास को देखकर उन्हें सिनेमा वाला बाबू का उपनाम दिया गया है। सिनेमा वाले बाबू उपनाम कि शिक्षक का असली नाम अशोक लोधी है, डॉ.आलोक शुक्ला जिला शिक्षा विभाग के सचिव है उन्होंने कोरोना काल जिले में भ्रमण करते हुए बच्चों को शिक्षित करने के लिए शिक्षकों से अवलोकन किया । और कहा कि सिनेमा वाले बाबू के द्वारा एक शिक्षा देने की पहल को एक अद्भुत मॉडल बताया। वही एक और कोरिया कलेक्टर एस.एन.राठौर भी मोहल्ला पढ़ाई योजना को सफल बनाने के लिए समय-समय पर बातचीत कर रहे हैं।
मुख्यमंत्री बघेल ने जनता के नाम संदेश में कहा,”लॉकडाउन” के कारण प्रभावित शिक्षा को निरंतर जारी रखने के लिए हमने ऑनलाइन शिक्षा योजना ”पढ़ई तुंहर दुआर” शुरू की थी, जिसका लाभ 22 लाख बच्चों को मिल रहा है और दो लाख शिक्षक-शिक्षिकाएं इस व्यवस्था से जुड़े हैं। इस पहल को आगे बढ़ाते हुए अब हम गांवों में समुदाय की सहायता से बच्चों को पढ़ाने के लिए ‘पढ़ई तुंहर पारा’ योजना शुरू कर रहे हैं। इंटरनेट के अभाव वाले अंचलों के लिए ‘ब्लूटूथ’ आधारित व्यवस्था ‘बूल्टू के बोल’ का उपयोग किया जाएगा।